पाक विदेश मंत्री की टिप्पणी पर केंद्र्र सरकार का पलटवार, कहा- भारत ने अफगानिस्तान में दिए स्कूल, बिजली और स्वास्थ्य सेवाएं
पाक विदेश मंत्री की टिप्पणी पर केंद्र्र सरकार का पलटवार, कहा- भारत ने अफगानिस्तान में दिए स्कूल, बिजली और स्वास्थ्य सेवाएं
SearchDuniya.Com |
आज की बड़ी खबर
पाक विदेश मंत्री – फगानिस्तान में भारत की भूमिका पर पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी की टिप्पणियों पर जवाब देते हुए विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा कि भारत अफगानिस्तान में बिजली, बांध, स्कूल, स्वास्थ्य देखभाल और सामुदायिक परियोजनाएं लेकर आया है, और दुनिया जानती है कि पाकिस्तान अफगानिस्तान में क्या लेकर आया है । भारत अफगानिस्तान में सभी प्रकार की शांति पहलों का समर्थन करता है और वहां के विकास व पुनर्निर्माण के लिए उसकी दीर्घकालिक प्रतिबद्धता है । इस संदर्भ में हम क्षेत्रीय देशों सहित विभिन्न हितधारकों के संपर्क में हैं ।
India supports all peace initiatives and has a long-term commitment to the development and reconstruction of Afghanistan. In this context, we remain in touch with various stakeholders including regional countries: MEA on Afghanistan pic.twitter.com/FYU58CUxhW
— ANI (@ANI) June 24, 2021
उन्होंने कहा कि हमें उम्मीद है कि जैसे-जैसे हमारे देश में कोरोना की स्थिति में सुधार जारी रहेगा, अन्य देश भारत के साथ यात्रा को सामान्य बनाने के लिए कदम उठाएंगे । हमने इस संबंध में कुछ शुरुआती कदम देखे हैं, सरकार इस मुद्दे को प्राथमिकता देना जारी रखेगी ।
प्रवक्ता ने कहा कि G7 शिखर सम्मेलन के दौरान प्रधानमंत्री ने खुले स्रोत, डिजिटल उपकरण, कांटैक्ट ट्रेसिंग और टीकाकरण अभियान के सफल उपयोग में भारत के अनुभव और विशेषज्ञता को साझा करने की पेशकश की, राष्ट्रीय स्वास्थ्य अथारिटी ने स्वदेशी रूप से विकसित कोविन ऐप का विवरण साझा करने के लिए दुनिया भर के भागीदार देशों के साथ एक कार्यक्रम आयोजित करने का प्रस्ताव रखा है ।
एनएसए अजित डोभाल के एससीओ शिखर सम्मेलन के दुशांबे ताजिकिस्तान में बैठक पर अरिंदम बागची ने कहा
कि एनएसए स्तर की बैठक के बाद एक प्रोटोकॉल की प्रकृति में एक परिणाम दस्तावेज को अपनाया गया था । मैं समझता हूं कि प्रथा के अनुसार, एससीओ सचिवालय कुछ समय बाद इस दस्तावेज़ को अपनी वेबसाइट पर सार्वजनिक करेगा । उन्होंने कहा कि बैठक में अंतरराष्ट्रीय और क्षेत्रीय सुरक्षा, आतंकवाद, उग्रवाद और कट्टरवाद का मुकाबला करने, नशीली दवाओं की अवैध तस्करी का मुकाबला करने और तैयारियों पर चर्चा हुई । उम्मीद है कि इस साल सितंबर में दुशांबे में एससीओ शिखर सम्मेलन के बारे में यह बैठक होने वाली है ।
ईरान के साथ भारत के संबंधों पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा कि इसे लेकर हमने कुछ सकारात्मक भावनाएं देखी हैं और हम देखना जारी रखेंगे कि यह कैसे आगे बढ़ता है । मैं नवनिर्वाचित ईरानी राष्ट्रपति को हमारे नेतृत्व के बधाई संदेशों के बारे में जानकारी दूंगा ।